खोज परिणाम

नेविगेशन पर जाएँ खोज पर जाएँ
देखें (पिछले २० | ) (२० | ५० | १०० | २५० | ५००)
  • ...िश''' (unit vector) एक [[सदिश राशि|सदिश]] है जिसका परिमाण '''१''' हो। इकाई सदिश को प्रायः लैतिन के छोटे अक्षरों के ऊपर 'हैट' लगाकर दर्शाया जाता है (जैसे <m किसी सदिश <math alt= u-hat>\mathbf{\hat{u}}</math> की दिशा में इकाई सदिश की गनना निम्नलिखित प्रकार से की जाती है: ...
    १ KB (४४ शब्द) - ०७:२९, २३ जुलाई २०२४
  • ...दिश गुणनफल]], रैखिक चित्रण (linear maps) आदि प्रदिश के कुछ सरल उदाहरण हैं। सदिश और अदिश स्वयं प्रदिश हैं। प्रदिश को संख्यात्मक मानों की बहुआयामी अर्रे द्वा *[[प्रदिश विश्लेषण]] ...
    २ KB (९६ शब्द) - ०३:०५, २३ जुलाई २०२४
  • ...पड़ा है। इसका उपयोग स्थैतिक विश्लेषण एवं यांत्रिक व संरचनात्मक तंत्रों के विश्लेषण में किया जाता है। .../math> इन सदिशों को इस प्रकार सजाया जाय कि एक सदिश के आरम्भिक बिन्दु दूसरे सदिश के अन्तिम बिन्दु पर हो तो एक [[त्रिभुज]] बन जायेगा जिसकी भुजाओं की लम्बाई A ...
    ३ KB (११५ शब्द) - १६:४०, २४ मई २०२३
  • ...ulus / vector analysis) [[गणित]] की वह विधा है जो सदिश राशियों के वास्तविक विश्लेषण (real analysis) से सम्बन्ध रखती है। सदिश विश्लेषण '''अदिश क्षेत्र''' तथा '''सदिश क्षेत्र''' के साथ गहरा सम्बन्ध है। ...
    १२ KB (१,१७१ शब्द) - ०९:४७, ८ मई २०२३
  • ...यों (coordinate systems) में कार्य करते समय प्रयोग में आने वाले [[सदिश कलन|सदिश कैलकुलस]] के प्रमुख सूत्र दिये गये हैं। ...िर्देशांक में <math>\theta</math> ''z'' - अक्ष एवं रेडिअस वेक्टर (त्रिज्या सदिश) के बीच का कोण है। ...
    १५ KB (२,०५९ शब्द) - १५:५९, १ मार्च २०२०
  • ...े साथ। एक रेखा के साथ एक कण (एक बिन्दु जैसी वस्तु) की गति को उसकी [[स्थिति सदिश|स्थिति]] x द्वारा वर्णित किया जा सकता है, जो कि t ([[समय]]) के साथ बदलता रह ...थ चलती हैं और दिशा नहीं बदलती हैं। इसलिए ऐसी तन्त्रों के विश्लेषण को शामिल सदिशों के दिशा घटकों की उपेक्षा करके और केवल परिमाण के साथ व्यवहार करके सरल बनाय ...
    ७ KB (२१४ शब्द) - १३:१०, २९ मार्च २०२३
  • ...जिसे सामान्यतः सम्मिश्र चरों के फलनों का सिद्धान्त भी कहा जाता है [[गणितीय विश्लेषण]] की एक शाखा है जिसमें [[समिश्र संख्या|सम्मिश्र संख्याओं]] के [[फलन|फलनों]] *[[सदिश गणित]] (Vector calculus) ...
    ७ KB (३९५ शब्द) - १६:१४, १९ सितम्बर २०२१
  • ...लाता है। भवन, पुल, वाहन, मशीनें, फर्नीचर, जैव उत्तक आदि सभी में संरचनात्मक विश्लेषण करने की आवश्यकता पड़ सकती है। ...े भौतिक जाँचों से बचा जा सकता है। अतः संरचनाओं के डिजाइन के लिए संरचनात्मक विश्लेषण की महती भूमिका है। ...
    ७ KB (४४८ शब्द) - ०२:४८, २३ जुलाई २०२४
  • ...हैं जिसमें वस्तु जिस बल के अन्तर्गत गति करती है उसकी दिशा सदा [[विस्थापन (सदिश)|विस्थापन]] के विपरीत एवं परिमाण विस्थापन के समानुपाती होता है। उदाहरण - कि ...आवर्त गति एक आधार देती है जिसके सहारे इससे भी अधिक जटिल गतियों को [[फुरिअर विश्लेषण]] की सहायता से निरूपित किया जा सके। ...
    ९ KB (३४४ शब्द) - १४:१७, ३० जनवरी २०२४
  • ...अलावा यह अरैखिक तंत्रों और काल-परिवर्ती तंत्रों (time-variable systems) के विश्लेषण तथा संश्लेषण के लिये भी उपयोगी है। तंत्रों के निरूपण की इस पद्धति में तंत्र *(५) स्टेट-स्पेस मॉडल, कम्प्यूटर द्वारा विश्लेषण तथा अध्ययन के लिये विशेष रूप से उपयोगी है। ...
    १२ KB (६०१ शब्द) - १७:३२, २२ जुलाई २०२४
  • | [[स्थिति सदिश]]: <math>\vec r</math> | [[जड़त्वाघूर्ण]] [[प्रदिश विश्लेषण|टेंसर]]: <math>\mathbf{ \Theta}</math> (विशेष स्थिति में अदिश [[जड़त्वाघूर् ...
    ७ KB (३१५ शब्द) - १९:०४, ६ जनवरी २०२५
  • [[भौतिकी]] में, '''बल''' एक [[सदिश]] राशि है जिससे किसी पिण्ड का [[वेग]] बदल सकता है। [[न्यूटन के गति के नियम| जहाँ '''I''' आवेग है। आवेग टक्करों के विश्लेषण में बहुत महत्वपूर्ण है। ...
    १४ KB (२२३ शब्द) - १८:५८, ६ जनवरी २०२५
  • ...[ऑगस्टिन लुई कौशी|ऑगस्टिन लुइस कौशी]] के नाम से नामकरण किया गया [[सम्मिश्र विश्लेषण]] '''कौशी समाकल प्रमेय''' (इसे ''कौशी-गूर्सा प्रमेय'' के नाम से भी जानते है ...ेश के क्षेत्र में भी। कौशी ने इसे सिद्ध भी किया लेकिन यह बाद में गूर्सा ने सदिश कलन अथवा आंशिक अवकलन की सांत्यतता पद्धति रहित उपलब्द्ध करवाया। ...
    १३ KB (७८९ शब्द) - १७:२७, ११ नवम्बर २०२२
  • ...णी-विज्ञान में कुछ जीव-जन्तुओं के वृद्धि-पैटर्नों के विश्लेषण के लिए विमीय विश्लेषण की मदद ली जाती है। ...बकीय सिद्धान्त]] समझने एवं उसका उपयोग करने के लिये के लिये [[सदिश कलन|सदिश विश्लेषण]] बहुत महत्वपूर्ण है। ...
    ३७ KB (८३१ शब्द) - १६:१६, १५ दिसम्बर २०२४
  • '''[[सदिश राशि|सदिश]] रूप में''': ...नी मिकैनिक ऐनालिटिक में इस समस्या का विस्तृत विवेचन किया है। इसी प्रकार का विश्लेषण ध्वनिक, वैद्युत और यांत्रिक छत्रों (फ़िल्टर्स filters) के लिये व्यवहृत किया ...
    २३ KB (२०५ शब्द) - ०३:०८, ५ मार्च २०२०
  • ...ड के [[जड़त्वाघूर्ण|मुख्य जड़त्व अक्षों]] के समान्तर होता है। आयलर समीकरण, सदिश अर्धरैखिक प्रथम ऑर्डर वाले साधारण [[अवकल समीकरण]] होते हैं। आयलर समीकरणों ...sub>in</sub> जड़त्वीय निर्देश तन्त्र में परिकलित [[जड़त्वाघूर्ण]] [[प्रदिश विश्लेषण|प्रदिश]] है। यद्यपि यह नियम सार्वभौमिक सत्य है, यह समान्य घूर्णी दृढ़ पिण्ड ...
    १७ KB (८२७ शब्द) - ०९:३३, १८ सितम्बर २०२४
  • * [[सदिश कलन|सदिश कैलकुलस]] * [[गणितीय विश्लेषण]] ...
    २२ KB (८७४ शब्द) - १०:२३, १३ नवम्बर २०२४
  • ...्लेषण करना कठिन हो सकता है जो हृदय की धड़कनों के बीच परिवर्तन दर्शाते हैं। विश्लेषण में मदद करने के लिए एक या दो "ताल पट्टी" को भी मुद्रित करना आम बात है। यह आ ...I, II एवं III के रूप में लिए गए हैं। हालांकि, वे हृदय को विभिन्न कोणों (या सदिशों) से देखते हैं क्योंकि इन लीडों के लिए ऋणात्मक विद्युत् चालक विल्सन के केन ...
    ८८ KB (१,७२१ शब्द) - १४:२४, १६ सितम्बर २०२४
  • ...ंदु में केन्द्रित मान कर इन नियमो को लगाया जाता है। ऐसा तब किया जाता है जब विश्लेषण में दूरियां वस्तुयों की तुलना में काफी बड़े होते है। इसलिए ग्रहों को एक कण जहाँ '''I''' आवेग है। आवेग टक्करों के विश्लेषण में बहुत अहम है। ...
    ३८ KB (१,१२९ शब्द) - ०८:०४, २८ सितम्बर २०२४
  • ...v'' के साथ लोरेन्ज रूपांतरण के साथ निर्देश तंत्र बदलने पर ऊर्जा-संवेग चतुर्सदिश (''E'',''Ev''/''c''<sup>2</sup>, 0, 0) होगा। सवेग का मान ऊर्जा व वेग के गुण ...की से सही परिणाम मिलते हैं, अतः निम्न वेगों पर केवल ऊर्जा अदिश व तीन-संवेग सदिश होते हैं। इससे आगे उन्होंने परिकल्पना दी कि प्रकश की ऊर्जा और आवृति समान डॉ ...
    १३६ KB (४,०३१ शब्द) - ११:५५, ४ जून २०२४
देखें (पिछले २० | ) (२० | ५० | १०० | २५० | ५००)